IIT कानपुर के लिए गौरवशाली क्षण: प्रो. अमित कुमार अग्रवाल को क्वांटम फिजिक्स में अग्रणी योगदान के लिए मिला राष्ट्रीय विज्ञान पुरस्कार 2025
Kanpur , 27 October 2025
Source: Information and Media Outreach Cell, IIT Kanpur
कानपुर, 27 अक्टूबर 2025: भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (IIT) कानपुर के भौतिकी विभाग के प्रोफेसर अमित कुमार अग्रवाल को राष्ट्रीय विज्ञान पुरस्कार 2025 के अंतर्गत विज्ञान युवा – शांति स्वरूप भटनागर पुरस्कार से सम्मानित किया गया है। यह पुरस्कार भारत के विज्ञान और प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में दिए जाने वाले सर्वोच्च सम्मानों में से एक है।
यह प्रतिष्ठित सम्मान प्रो. अग्रवाल के सैद्धांतिक संघनित पदार्थ भौतिकी (Theoretical Condensed Matter Physics) में किए गए नवोन्मेषी शोध को मान्यता देता है, विशेष रूप से क्वांटम ट्रांसपोर्ट, टोपोलॉजिकल मटेरियल, और लो डायमेंशनल सिस्टम के क्षेत्रों में उनके योगदान के लिए। वे इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ साइंस (IISc) के सेंटर फॉर हाई एनर्जी फिजिक्स (CHEP) के पहले पूर्व छात्र हैं जिन्हें यह राष्ट्रीय सम्मान प्राप्त हुआ है। यह उपलब्धि IIT कानपुर और भारतीय वैज्ञानिक समुदाय दोनों के लिए अत्यंत गर्व का क्षण है।
प्रो. अग्रवाल ने अपनी Ph.D. (2005–2009) IISc, बेंगलुरु से प्रो. दिप्तिमन सेन के मार्गदर्शन में पूरी की। उनका शोध प्रबंध “Transport Properties of Quasi-One-Dimensional Quantum Systems” को 2009–2011 के दौरान सैद्धांतिक भौतिकी में सर्वश्रेष्ठ पीएचडी थीसिस के लिए कुमारी एल. ए. मीरा मेमोरियल मेडल से सम्मानित किया गया।
IIT कानपुर में अगस्त 2012 में शामिल होने से पहले, वे Marie Curie Postdoctoral Researcher के रूप में Scuola Normale Superiore, Pisa (Italy) में कार्यरत रहे, जहाँ उन्होंने Prof. Rosario Fazio और Dr. Marco Polini के साथ European Union FP7 Project “SemiSpinNet” पर काम किया। इस परियोजना में उन्होंने Quantum Many-Body Effects और Spin-Orbit Coupling वाले Two-Dimensional Electron Gases पर शोध किया।
IIT कानपुर में प्रो. अग्रवाल सैद्धांतिक भौतिकी के क्षेत्र में अग्रणी वैज्ञानिकों में से एक बन चुके हैं। उनका शोध क्वांटम जियोमेट्री और क्वांटम मटेरियल में ट्रांसपोर्ट फिनॉमेना, डेंसिटी फंक्शनल थ्योरी के प्रयोग से नए 2D, टोपोलॉजिकलऔर मैगनेटिक मटेरियल का अध्ययन, Plasmons और Charge Density Waves जैसे Collective Excitations, तथा नैनोस्केल डिवाइज मॉडलिंग पर केंद्रित है जो आधुनिक क्वांटम टेक्नोलॉजी से जुड़ा हुआ है। उनके शोध ने पदार्थों के क्वांटम व्यवहार की गहन समझ को आगे बढ़ाया है और भविष्य के नैनोइलेक्ट्रॉनिक व क्वांटम डिवाइज के डिज़ाइन में नई दिशा प्रदान की है।
सम्मान पर अपनी प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए प्रो. अग्रवाल ने कहा —“इस पुरस्कार से सम्मानित होना मेरे लिए गर्व और प्रेरणा का विषय है। मेरा सफर ‘Quantum World’ को समझने की जिज्ञासा और अपने गुरुओं, सहयोगियों एवं छात्रों से मिली प्रेरणा से संचालित रहा है। IIT Kanpur का भौतिकी विभाग 2012 से मेरा घर और मेरी Karma-Bhoomi रहा है — एक ऐसा स्थान जो स्वाभाविक जिज्ञासा, सीखने और उत्कृष्टता को निरंतर प्रेरित करता है।”
राष्ट्रीय विज्ञान पुरस्कार, भारत सरकार द्वारा स्थापित एक प्रतिष्ठित सम्मान है जो विज्ञान, प्रौद्योगिकी और नवाचार में असाधारण योगदान के लिए दिया जाता है। विज्ञान युवा – शांति स्वरूप भटनागर पुरस्कार श्रेणी विशेष रूप से 45 वर्ष से कम आयु के वैज्ञानिकों की उत्कृष्ट उपलब्धियों को सम्मानित करती है।
प्रो. अग्रवाल की यह उपलब्धि IIT कानपुर की मौलिक अनुसंधान में उत्कृष्टता की परंपरा और भारत के वैज्ञानिक भविष्य के निर्माण में उसकी अग्रणी भूमिका को और सशक्त बनाती है।
प्रो. अमित कुमार अग्रवाल के बारे में
प्रो. अग्रवाल का जन्म चिरकुंडा (धनबाद) में 1980 में हुआ। उन्होंने अपनी प्रारंभिक शिक्षा De Nobili School, Mugma से प्राप्त की। इसके बाद उन्होंने किरोरीमल कॉलेज, दिल्ली यूनिवसिर्टी से फिजिक्स में B.Sc. (Hons.) की डिग्री प्राप्त की, जहाँ उन्हें एन. एस खरे अवॉर्ड फॉर एकेडेमिक एक्सीलेंस से सम्मानित किया गया। उन्होंने IISc Bangalore से M.S. (2002–2005) और Ph.D. (2005–2009) की, जिसके बाद उन्होंने इटली में पोस्टडॉक्टोरल शोध कार्य किया।
अपनी स्पष्ट सोच, कठोर शोध दृष्टिकोण और छात्रों के साथ गहरे जुड़ाव के लिए प्रसिद्ध, प्रो. अग्रवाल आज भी क्वांटम मटेरियल्स और क्वांटम फिनॉमेना की सैद्धांतिक समझ में महत्वपूर्ण योगदान दे रहे हैं।
आईआईटी कानपुर के बारे में
1959 में स्थापित, भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान कानपुर को भारत सरकार द्वारा राष्ट्रीय महत्व के संस्थान के रूप में मान्यता प्राप्त है। विज्ञान और इंजीनियरिंग शिक्षा में उत्कृष्टता के लिए प्रसिद्ध, आईआईटी कानपुर ने अनुसंधान और विकास में महत्वपूर्ण योगदान दिया है। इसका 1,050 एकड़ का हरा-भरा परिसर शैक्षणिक और अनुसंधान संसाधनों से समृद्ध है। संस्थान में 20 विभाग, तीन अंतर्विषयी कार्यक्रम, 26 केंद्र और तीन विशेष स्कूल हैं, जो इंजीनियरिंग, विज्ञान, डिजाइन, मानविकी और प्रबंधन जैसे क्षेत्रों को कवर करते हैं। 570 से अधिक पूर्णकालिक फैकल्टी और 9,500 से अधिक छात्रों के साथ, आईआईटी कानपुर नवाचार और शैक्षणिक उत्कृष्टता में अग्रणी बना हुआ है।